आज हम सभी नमाजों की नियत हिंदी में (All Namaz niyat in hindi) जानेंगे और नियत क्या होती है क्या नियत के बगैर नमाज हो सकती है इन सभी बातों को हम जानने वाले हैं
नियत का अर्थ क्या हता है
ٌنِیَّت नियम एक अरबी लफ्ज़ है जिसका माना इरादा क़स्द और अज़्म के हैं किसी भी चीज का इरादा करना या किसी भी चीज के करने का दिल में ख्याल लाना इसे नियत कहते हैं
क्या नमाज में नियत जरूरी है
जी हां हर नेक काम के लिए नियत का करना जरूरी है जैसे हदीस ए पाक में आता है اِنَّمَا الْاَعْمَالُ بِالنِّيَّات यानी हर अमल का दारू मदर नियत पर है अगर नियत दुरुस्त है नेक काम करने का उसे सवाब मिलेगा वरना नहीं
इसी तरह अगर कोई शख्स बगैर नियत की नमाज पढ़ रहा है उसका इरादा नमाज पढ़ने का नहीं है फिर भी नमाज में दाखिल हो गया और नमाज की हर रुक्न को अदा कर रहा है लेकिन नमाज की नियत नहीं है
तो ऐसी सूरत में उस आदमी की नमाज नहीं होगी क्योंकि नमाज से पहले नमाज की नियत होना फर्ज है
all Namaz niyat in Hindi |सब नमाजों की नीयत हिंदी में सीखें
किसी भी नमाज की नियत आप जुबान से करना चाहते है अगर आप यह बुनियादी बातें सिखले तो आप किसी भी नमाज की नियत खुद से कर सकते हैं
सबसे पहले आप इस तरह कहें नियत की में ने या नियत करता हूं में उसके बाद अब देखिए कौन सी नमाज है और कौन सा वक्त है और कितनी रकात है उन सब का नाम ले
मिसाल के तौर पर फजर का वक्त है या जौहर असर मगरिब का वक्त है कौनसी नमाज है यानी फर्ज है या सुन्नत है या नफील है कितनी रकात है 2 रकात सुन्नत है या दो रकात नफिल या 4 रकात फर्ज है यानी नमाज के वक्त के साथ नमाज और रकात का भी नाम ले
उसके बाद कहे अल्लाह ताला के वास्ते क्यों कि हम लोग अल्लाह के लिए नमाज पढ़ते हैं उसके कहे मेरा रूख या / मेरा मुंह काबा शरीफ की तरफ अल्लाह हू अकबर
- 1 नियत की मैने / नियत करता हूं में
- 2 जौहर असर मगरिब ईशा फजर की(नमाज का वक्त बोले)
- 3 चार रकात फर्ज या 2 रकात सुन्नत या नफील (नमाज के नाम के साथ रकात भी बोले)
- 4 अल्लाह ताला के वास्ते
- 5 रुख मेरा काबा शरीफकी तरफ
- अल्लाह हू अकबर

फजर की दो रकात की सुन्नत की नियत/ fajar ki 2 rakat sunnat ki niyat
नियत की मैंने फजर की दो रकात सुन्नत की अल्लाह ताला के वास्ते रुख मेरा काबा शरीफ की तरफ, अल्लाहु अकबर
फजर की दो रकात फर्ज की नियत |fajar ki 2 Rakat farj ki niyat
नियत की मैंने फजर की दो रकात फर्ज की अल्लाह ताला के वास्ते रुख मेरा काबा शरीफ की तरफ, अल्लाहू अकबर
जोहर की चार रकात सुन्नत की नियत . Johar ki 4 rakat sunnat ki niyat
नियत की मैंने जोहर की चार रकात सुन्नत की अल्लाह-ताला के वास्ते रुख मेरा काबा शरीफ की तरफ, अल्लाहु अकबर
जोहर की चार रकात फर्ज की नियत, johar ki 4 rakat Farz ki niyat
नियत की मैंने जोहर की 4 रकात फर्ज की अल्लाह ताला के वास्ते रुख मेरा काबा शरीफ की तरफ, अल्लाहु अकबर
जोहर की 2 रकात सुन्नत की नियत.johar ki 2 rakat sunnat ki niyat
नियत की मैंने जोहर की 2 रकात सुन्नत की अल्लाह ताला के वास्ते रुख मेरा काबा शरीफ की तरफ, अल्लाहु अकबर
जोहर,की दो रकात नफिल की नियत, jahar ki 2 rakat nafil ki niyat
नियत की मैंने जोहर की दो रकात नफिल की अल्लाह-ताला के वास्ते रुख मेरा काबा शरीफ की तरफ, अल्लाहू अकबर
असर की चार रकात सुन्नत की नियत . Asar ki 4 rakat sunnat ki niyat
नियत की मैंने असर की चार रकात सुन्नत की अल्लाह ताला के वास्ते रुख मेरा काबा शरीफ की तरफ , अल्लाहु अकबर
असर की चार रकात फर्ज की नियत , Asar ki 4 rakat Farz ki niyat
नियत की मैंने असर की चार रकात फर्ज की अल्लाह ताला के वास्ते रुख मेरा काबा शरीफ की तरफ , अल्लाहु अकबर
मगरिब की तीन रकात फर्ज की नियत, magrib ki 3 rakat farz ki niyat
नियत की मैंने मगरिब की 3 रकात फर्ज की अल्लाह ताला के वास्ते रुख मेरा काबा शरीफ की तरफ, अल्लाहु अकबर
मगरिब की 2 रकात सुन्नत की नियत, magrib ki 2 rakat sunnat ki niyat
नियत की मैंने मगरिब की दो रकात सुन्नत की अल्लाह ताला के वास्ते रुख मेरा काबा शरीफ की तरफ, अल्लाहु अकबर
मगरिब की दो रकात नफिल की नियत, magrib ki 2 rakat nafil ki niyat
नियत की मैंने मगरिब की दो रकात नफिल की अल्लाह ताला के वास्ते रुख मेरा काबा शरीफ की तरफ अल्लाहु अकबर
ईशा की चार रकात सुन्नत की नियत, Isha ki 4 rakat sunnat ki niyat
नियत की मैंने ईशा की चार रकात सुन्नत की अल्लाह ताला के वास्ते रुख मेरा काबा शरीफ की तरफ अल्लाह हू अकबर
ईशा की 4 रकात फर्ज की नियत , Isha ki 4 rakat farz ki niyat
नियत की मैंने ईशा की चार रकात फर्ज की अल्लाह ताला के वास्ते रुख मेरा काबा शरीफ की तरफ अल्लाहु अकबर
ईशा की 2 रकात सुन्नत की नियत, Isha ki 2 rakat sunnat ki niyat
नियत कि मैंने ईशा की 2 रकात सुन्नत की अल्लाह ताला के वास्ते रुख मेरा काबा शरीफ की तरह अल्लाहु अकबर
ईशा की दो रकात नफिल की नियत , Isha ki 2 rakat nafil ki niyat
नियत की मैंने ईशा की 2 रकात नफील की अल्लाह ताला के वास्ते रुख मेरा काबा शरीफ की तरफ अल्लाहू अकबर
3 रकात वित्र नमाज की नियत ,3 rakat witr namaz ki niyat
नियत की मैंने तीन रकात वित्र वाजिब की अल्लाह ताला के वास्ते रुख मेरा काबा शरीफ की तरफ अल्लाहु अकबर
ईशा की दो रकात सुन्नत की नियत, Isha ki 2 rakat sunnat ki niyat
नियत की मैंने ईशा की दो रकात सुन्नत की अल्लाह ताला के वास्ते रुख मेरा काबा शरीफ की तरफ अल्लाहु अकबर
ईशा की 2 रकात नफील नमाज की नियत, Isha ki 2 rakat nafil ki niyat
नियत की मैंने ईशा की 2 रकात नफील की अल्लाह ताला के वास्ते रुख मेरा काबा शरीफ की तरफ अल्लाहु अकबर
इमाम कैसे इमामत की नियत करे , Imam kaise imamat ki niyat kare
मैं फजर की दो रकात फर्ज की इमामत करता हूं अल्लाह ताला के वास्ते रुख मेरा काबा शरीफ की तरफ अल्लाहु अकबर
अगर इमाम के पीछे नमाज पढ़े तो कैसे नियत करे
नियत की मैंने मगरिब की 3 रकात फर्ज की अल्लाह ताला के वास्ते (इस इमाम के पीछे) रुख मेरा काबा शरीफ की तरफ अल्लाहु अकबर
नोट: अगर आप इमाम के पीछे नमाज पढ़ते हैं तो आप ( इस इमाम के पीछे) लफ्ज़ ज्यादा कहे अपनी नियत में
आखिरी बात
हमने इस पोस्ट में सभी पांच वक्त की सभी नमाजों की नियत (All Namaz niyat in hindi )को सिखा अगर आपने इस पोस्ट को मुकम्मल पढ़ लिया है तो यकीनन आप सारी नमाजों की नियत जान चुके हैं तो अब आप पर यह जिम्मेदारी है
जिन भाई बहनों को नहीं आता है उनको जरूर सिखाएं अगर आपके पास सीखने का वक्त नहीं है तो कम से कम इस पोस्ट को सवाब की नीयत से जरूर उन तक पहुंचाएं और दुआ में हमें भी याद रखें
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